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ED को GSTN के साथ जानकारी साझा करने की अनुमति देने के मामले पर केजरीवाल ने किया ट्विट, कहा- ये खतरनाक है..

नई दिल्ली:  केंद्र सरकार ने मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट में एक बड़ा बदलाव किया है। अब प्रवर्तन निदेशालय (ED)  जीएसटी नेटवर्क (GSTN) के साथ जानकारी साझा करेगी। इस एक्ट के बदलाव को लेकर दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल खतरनाक बताया है। वहीं आम आदमी के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा कि मनी लॉंन्डिंग एक्ट में हुआ बदलाव देश के अर्थव्यवस्था के लिए खतरनाक बताया है। इसके साथ ही कहा कि GST काउंसिंल की मीटिंग में इस एक्ट का विरोध करेंगे। ताकि केंद्र सरकार जल्द वापस ले।

सीएम अरविंद केजरीवाल ने किया ट्विट

दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने मंगवार को ट्विट किया। उन्होंने ट्विटर पर लिखा कि व्यापारियों का बहुत बड़ा हिस्सा जीएसटी नहीं देता है, कुछ मजबूरी, तो कुछ जानबूझकर। केंद्र सरकार ने जीएसटी को ED में शामिल कर दिया है। आगर कोई व्यापारी GST  नहीं देगा, तो उस पर ED कार्यवाई कर उसे जेल भेज देगा। फिर उसे बेल भी नहीं मिलेगी। GST प्रणाली इतनी जटिल है कि जो लोग पूरा GST भी दे रहे हैं, उन्हें भी किसी प्रावधान में फंसाकर जेल में डाला जा सकता है।'

अरविंद केजरीवाल ने कहा कि इस एक्ट से छोटे व्यापारियों के लिए खतरा है। व्यापारी अब ईडी से ही बचता फिरेगा। उन्होंने कहा, 'देश के किसी भी व्यापारी को केंद्र सरकार जब चाहे जेल भेज देगी। ये बेहद खतरनाक है। व्यापारी व्यापार करने की बजाय अपने को बस ED से बचाता फिरेगा। देश के छोटे छोटे व्यापारी भी इसकी चपेट में आ जाएंगे। कोई व्यापारी नहीं बचेगा। ये देश की अर्थव्यवस्था के लिए बेहद खतरनाक है।' उन्होंने इसके विरोध की अपील करते हुए कहा, 'आज GST काउंसिल की मीटिंग है। मैं उम्मीद करता हूं, सब लोग इसके खिलाफ बोलेंगे। केंद्र सरकार इसे तुरंत वापस ले।'

सीएम के बयान पर BJP ने किया पलटवार

सीएम अरविंद केजरीवाल के आरेपों का दिल्ली BJP ने जवाब देते हुए कहा कि एंटी करप्शन आंदोलन से निकली आम आदमी पार्टी अब भ्रष्टाचारियों की संरक्षक पार्टी बन चुकी है। दिल्ली BJP की ओर से कहा गया, 'GSTN को PMLA के तहत लाने का फैसला मनी लॉन्ड्रिंग को रोकने के लिए लिया गया है।  दिल्ली BJP ने कहा कि GSTN एक गैर-लाभकारी संगठन है जो GST के कार्यान्वयन के लिए केंद्र और राज्य सरकारों, करदाताओं और अन्य हितधारकों को आईटी बुनियादी ढांचा और सेवाएं प्रदान करता है। GSTN कोई कर प्राधिकरण या प्रवर्तन एजेंसी नहीं है, यह एक सुविधा प्रदाता और सेवा प्रदाता है जो GST प्रणाली के सुचारू कामकाज को सक्षम बनाता है। GSTN डेटा एनालिटिक्स, जोखिम प्रबंधन और धोखाधड़ी का पता लगाने वाले उपकरण प्रदान करके कर चोरी को रोकने और कर धोखाधड़ी को कम करने में भी मदद करता है। BJP ने केजरीवाल के आरोपों को खण्डन करते हुए कहा कि केजरीवाल GST प्रणाली में भ्रम और अविश्वास पैदा कर रहे है। इस एक्ट में बदलाव सिर्फ एक ऐतिहासिक सुधार है जिसने भारत में अप्रत्यक्ष कर व्यवस्था को सरल और तर्कसंगत बनाएगा।

 

मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट में क्या हुआ है बदलाव

केंद्र सरकार ने मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के प्रावधानों में बदलाव करते हुए प्रवर्तन निदेशालय (ED) को GST नेटवर्क (GSTN) के साथ जानकारी साझा करने की अनुमति दी है। इस एक्ट के माध्यम से GST चोरी करने वालों पर कार्यवाई करने में मदद मिलेगी। बता दे कि मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट या पीएमएलए एक्ट 2002 में किए गए बदलाव के तहत अब GSTN को उन संस्थाओं की सूची में जोड़ा जाएगा। जिसके साथ ED अपनी जानकारी शेयर करेगी।


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