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Shravan Month: श्रावण कृष्ण पक्ष के आखिरी के दिन क्यों है ख़ास ,पढ़े पूरी ख़बर

Lucknow Desk : श्रावण कृष्ण पक्ष के आखिरी पांच दिन व्रत-उपवास और पूजा-पाठ के लिए बहुत खास है। इनमें सावन की एकादशी और द्वादशी भगवान विष्णु की पूजा के लिए बहुत शुभ दिन रहेंगे। वहीं आपको बता दें कि शनिवार को सावन का प्रदोष व्रत का शुभ संयोग बन रहा है। ये तो आप सभी को पता है हिन्दू धर्म में सावन बड़ा महत्व माना जाता है। 

आपकी जानकारी के लिए बता दे कि सावन महीने के कृष्ण पक्ष की एकादशी को कामिका एकादशी कहा जाता है। इस तिथि पर श्रीकृष्ण का अभिषेक करने के बाद मंजरी के साथ तुलसीदल अर्पित करें। भगवान विष्णु को पसंद फूल चढ़ाएं। नैवेद्य लगाएं। घी या तिल के तेल का दीपक जलाएं। जो दिन रात जलता रहे।

बता दें कि शिवपुराण के अनुसार शिवजी की प्रिय तिथि होने से प्रदोष में की गई शिव पूजा का विशेष फल मिलता है। भगवान शिव ही शनि देव के गुरू हैं, इसलिए सावन महीने में शनिवार के दिन शिव पूजा करने से शनि दोष से होने वाली तकलीफों से राहत मिलती है। शनि प्रदोष के दिन व्रत, पूजा, दान करने से सुख और सौभाग्य बढ़ता है। इस बार सावन बेहद खास है। 

 
ये सावन महीने के कृष्ण पक्ष का आखिरी दिन होगा। इस दिन सोमवार होने से ये महापर्व हो जाएगा। सावन में सोमवती अमावस्या के संयोग में किया गया स्नान-दान अक्षय पुण्य देने वाला होता है। इस दिन शिव पूजन करने से आरोग्य, समृद्धि और उम्र बढ़ती है। सावन महीने की अमावस्या होने से इस दिन किए गए श्राद्ध से पितरों को संतुष्टि मिलती है।


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